देवी माँ करती है यहा अग्नि से स्नान
Idana Mata Shaktipeeth Temple Udaypur
भारत में कई ऐसे चमत्कारी मंदिर है जिनके किस्से सुनकर लोगो के होश उड़ जाते है और वे उस मंदिर की लीला के सामने नतमस्तक हो जाते है . ऐसा ही एक मंदिर जो लोगो में चर्चा का विषय बना हुआ है वो है अति प्राचीन शक्तिपीठ माँ ईडाणा मंदिर . इस मंदिर में विराजित माता को मेवल की महारानी भी कहा जाता है . मेवल क्षेत्र में करीबन 52 गाँव आते है जिसमे एक गाँव का नाम ईड़ाणा भी है .
मेवाड़ के सबसे प्रमुख शक्तिपीठों में से एक ईडाणा माता मंदिर जिसकी ख्याति पुरे मेवाड़ में फैली हुई है | कहते है की यहा की शक्ति माँ स्वयं अग्नि प्रज्वलित कर स्नान करती है | इसके साथ ही यह भी मान्यता है की लकवा से पीड़ित व्यक्ति यहा माँ के दरबार में आकर काफी हद तक ठीक भी हो जाते है |
माँ के दरबार में नवरात्रों को भारी भीड़ रहती है | दूर दूर से भक्त अपनी माँ का अग्नि स्नान देखने आते है . शायद यह संभवत ऐसा मंदिर है जहाँ माँ शक्ति आग से स्नान करती है .
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ईडाणा मंदिर का इतिहास
इस मन्दिर के पुजारी बताते है कि यह मंदिर बहुत ही पुराना है . राजा महाराजो के समय से यह मंदिर बना हुआ है और इसी तरह माँ आग से नहाती आई है . मंदिर के पुजारी के अनुसार उनके पूर्वज के पूर्वज भी इस मंदिर के साक्षी रहे है .
कब करती है माँ अग्नि से स्नान :
यहा के पुजारियों के अनुसार देवी माँ एक माह में दो या तीन बार अग्नि से स्वतः ही स्नान करती है | यह इस मंदिर का सबसे बड़ा चमत्कार है कि यह आग कैसे स्वयं लग जाती है , इसका पता माता के अलावा किसी को नही है . अग्नि स्नान से पहले माँ के जेवर उतार दिए जाते है . अग्नि स्नान के दौरान देवी माँ के पहने हुए वस्त्र भस्म हो जाते है जो स्नान के बाद नए वस्त्र पहना दिए जाते है | नया श्रंगार के समय विशेष मंत्रोचार किया जाता है . इसी अग्नि स्नान के कारण आज तक माँ का सम्पूर्ण मंदिर नही बन पाया है |
कहते है की भक्त जो चुनडी , नारियल और श्रंगार का सामान माता रानी को चढाते है वो माता अग्नि स्नान के माध्यम से स्वीकार कर लेती है . जैसे हवन और यज्ञ आदि में अग्नि देव आपकी सामग्री को देवताओ तक पहुंचाते है उसी तरह यहा भी अग्नि देवता ये भेटे ज्वाला के माध्यम से माँ तक पहुंचा देते है .
माँ के दर्शन वाली जगह के पीछे बहुत सारे त्रिशूल लगे हुए है जो अग्नि की लपटों में काले पड़ चुके है .
भक्त जिनकी मन्नत माँ पूरी कर देती है वो इस मंदिर में त्रिशूल चढ़ा देते है | जिन भक्तो की माँ झोली भर देती है वो माँ के दरबार में झुला भेट कर जाते है |
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लकवे का ईलाज करती है माँ :
माँ ईडाणा जिनके लकवे ठीक कर देती है वो यहा लकड़ी या धातु के अंग चढ़ा जाते है |
यह मंदिर 24 घंटे दर्शन खुला रहता है | यह मंदिर खुले में ही है , ना कोई दरवाजा ना ही कोई ताला . लकवे से ग्रसित व्यक्ति को यही रात में माँ के दरबार में रुकना होता है |
कैसे जाए ईडाणा मंदिर
यह मंदिर राजस्थान के उदयपुर से 60 किमी की दुरी पर स्तिथ है . यदि आप रेल या हवाई मार्ग से आना चाहते है तो निकटम रेलवे स्टेशन और हवाई अड्डा उदयपुर पड़ता है . उसके बाद आप बस , कार और जीप के द्वारा माँ ईडाणा के मंदिर तक जा सकते है .
कार्यालय से मिलती है भभूत
देवी माँ जब स्नान करती है तो उससे एक दिव्य और चमत्कारी राख ( भभूत ) का निर्माण होता है . इस भभूत को आप यहा के मंदिर कार्यालय से निशुल्क पा सकते है . यह चमत्कारी राख होती है जिसे आप तिलक के रूप में लगा सकते है या फिर घर पर ले जा कर शुद्ध जल में घोल कर घर में छिडकाव कर सकते है . इससे घर में नकारात्मक शक्तियां दूर होती है और सकारात्मकता बढती है .
रविवार और नवरात्रि पर भरता है मेला
इस मंदिर में हर रविवार को मेला भरता है . यहा आस पास में सैकड़ो दुकाने है जहाँ प्रसाद , चुनडी , नारियल मिलते है . यह मंदिर 24 घंटे खुला रहता है अत: यहा दुकाने भी पूरी रात खुली रहती है .
माता जी के दर्शन लोग राजस्थान , दिल्ली ,उत्तरप्रदेश और गुजरात से भी आते है .
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चैत्र नवरात्रि पर किया माँ ने अग्नि स्नान
इस साल 2023 में चैत्र नवरात्रि पर तीसरे नवरात्रे पर शाम को 4:50 पर भी किया था माँ ने अग्नि स्नान . जब यह बात आस पास में पता चली तो नवरात्रि पर माँ के अग्नि स्नान के दर्शन करने लोग उमड़ पड़े . आपको जानकर आश्चर्य होगा कि इससे पहले माँ ने एक साल पहले स्नान किया था . कहते है कि ये दर्शन बहुत ही मंगलकारी होते है . माँ अपनी इच्छा से प्रसन्न होकर महीने में एक बार तो कभी दो बार स्वत: ही आग से स्नान कर लेती है .
सारांश
- तो दोस्तों यहा हमने आपको माता रानी के एक जाग्रत शक्तिपीठ ईडाणा माता मंदिर के बारे में बताया जो माँ अपनी इच्छा और चमत्कार से अग्नि स्नान करती है . सबसे कमाल की बात यह है कि स्नान से माँ के मंदिर की सारे कपडे राख जो जाते है यहाँ तक की मूर्ति में आग लग जाती है पर मूर्ति का कुछ भी नही बिगड़ता है .
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