साई बाबा को खुश करने के उपाय
साई बाबा मनुष्यों के बीच रहकर अपनी शिक्षाए दे कर गये . उन्होंने बताया कि इस जीवन में सही जीवन को जीने के लिए किन बातो का ध्यान रखना चाहिए . साई कृपा उन्ही को मिलती है जो सबसे पहले एक अच्छा व्यक्ति हो , जिसके मन में दुसरो के लिए दया कर भाव हो . जो व्यक्ति निस्वार्थ हो , परोपकारी हो और साई पर पूर्ण निष्ठा और विश्वास रखता हो वो ही साई कृपा के पात्र होते है .
तो चलिए जानते है कि साई बाबा को प्रसन्न करने के लिए आपको क्या क्या करना चाहिए .
साई बाबा जिस तरह खुद अपना जीवन व्यतीत करते थे , वैसा ही यदि कोई व्यक्ति अपना जीवन बिताता है तो वे उससे बहुत प्रसन्न होते है .
आप अपने सामर्थ के अनुसार जरुरतमंदों और गरीबो में अन्न , वस्त्र दान कर सकते है . इस जीवन में सच्ची दौलत दुसरे लोगो से कमाई गयी दुआए होती है .
साई बाबा के प्रिय भोग क्या है जिनसे प्रसन्न होते है साईनाथ ?
जीव जन्तुओ पर दया करे
सिर्फ ऐसा नही है कि जरुरतमंद सिर्फ आदमी ही हो , वो कोई पशु पक्षी भी हो सकता है . ईश्वर ने आपको मानव जन्म दिया है और काबिल बनाया है कि आप अपने आस पास जो भी भूखा प्राणी दिखे , उसकी सहायता कर सके .
साई बाबा को प्रसन्न करने के लिए अपने आस पास जीव जन्तुओ को खाना जरुर खिलाये , उनके लिए पीने के पानी की व्यवस्था जरुर करे .
गुरूवार को करे विशेष पूजा अर्चना
बाबा साई का प्रिय दिन गुरूवार को माना गया है जो गुरु को समर्प्रित होता है . इस दिन पीले वस्त्र धारण करने चाहिए और अपने घर या पास के साई मंदिर में जाकर साई बाबा की विशेष पूजा अर्चना करनी चाहिए .
साई मंदिर में पीली चीजो का दान करना चाहिए .
साई बाबा को तेल के दिए बहुत पसंद थे इसलिए दीप दान भी जरुर करे और साई ,मंदिरों में संध्या के समय सरसों के तेल का दीपक भी जलाने से साई बाबा प्रसन्न होते है .
साई बाबा के लिए कुछ संध्या के समय निकाल कर साई बाबा के महा मंत्रो का जप करने से भी साई बाबा की कृपा की प्राप्ति होती है .
साई के 11 वचनों का पाठ
बाबा साई ने अपनी देह का त्याग किया तो उससे पहले साई बाबा ने अपने 11 अनमोल वचन अपने भक्तो को देखकर गये है , इस वचनों के माध्यम से उन्होंने अपने भक्तो को बताया कि देह त्यागने के बाद भी साई बाबा उनके करीब ही रहेंगे . जो भक्त श्रद्धा और सबुरी से उन्हें याद करेगा , तो साई कृपा का पात्र बनेगा .
जो भक्त शिर्डी में समाधी मंदिर में आकर उनके दर्शन करेगा , उसके सभी दुःख दूर हो जायेंगे .
हर साई साई बाबा के ये 11 वचनों का पाठ सभी साई भक्तो को करना चाहिए .
धर्म के नाम पर ना करे लड़ाई
साई बाबा ने हमेशा मनुष्यों की एकता पर जोर दिया है . वे हिन्दुओ और मुस्लिमो को एकजुट रखने के लिए रमजान भी मनाते थे तो दिवाली भी . साई बाबा अपने भक्तो से भी यही चाहते है कि अपने धर्म के साथ साथ दुसरो के धर्म की भी इज्जत करे और उनकी खुशियों में शामिल हो .
हम जाने या अनजाने रूप में पूजा तो एक ही ईश्वर की कर रहे है .
सत्चरित्र का पाठ
साई भक्तो के लिए साई सत्चरित्र किसी वेद पुराण से कम नही है . साई की महान लीलाए इसमे वर्णित है जिसको जितना पढ़े उतना ही हम साई की महिमा को जान पाते है .
साई सत्चरित्र को नियमति रूप से पढना और इसे साई भक्तो को बंटवाने से साई बाबा अत्यंत प्रसन्न होते है . जो भक्त साई महिमा को ज्यादा नही जान पाए वे साई सत्चरित्र के माध्यम से साई बाबा की लीलाओ को जान सकते है .
साई नाम जप
साई का नाम बोलने से ही मन खिल उठता है . आपको आंतरिक परम शांति का अहसास होता है . हर दिन दुनिया दारी को छोड़कर कुछ पल एकांत में बैठकर साई साई का नाम जपने से और आतंरिक अंधेरो में उनकी छवि के दर्शन करने से आप साई बाबा के करीब पहुँच जाते है .
साई कृपा के पात्र बनते है .
साई बाबा को प्रसन्न करने के लिए आप साई जप जरुर करे .
साई बाबा से जुड़े जरुरी प्रश्न उत्तर
शिर्डी के आस पास घुमने लायक जगहे कौनसी है ?
साई बाबा की Original और वास्तविक फोटो कौनसी है
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